सार्वजनिक स्वास्थ्य सांख्यिकी और डेटा विज्ञान में भारतीय-अमेरिकी विशेषज्ञ भ्रमर मुखर्जी को येल स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ (YSPH) में अन्ना एम.आर. लॉडर प्रोफेसर ऑफ बायोस्टैटिस्टिक्स नियुक्त किया गया है। YSPH ने यह घोषणा की है।
YSPH के डीन द्वारा नवीनीकृत होने वाला यह 10 साल का कार्यकाल मुखर्जी के करियर में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है। मुखर्जी सार्वजनिक स्वास्थ्य डेटा विज्ञान और डेटा इक्विटी में रणनीतिक पहलों को विकसित करने के प्रयासों को आकार देने में एक प्रमुख भूमिका निभाती हैं। इसका मकसद आइवी लीग संस्थान में अनुसंधान और शिक्षा को आगे बढ़ाना है। वह क्षेत्र को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बढ़ाने के लिए वैश्विक भागीदारियों को भी बढ़ावा देंगी।
मुखर्जी हाल ही में YSPH फेकल्टी में पब्लिक हेल्थ डेटा विज्ञान और डेटा इक्विटी के पहले वरिष्ठ सहयोगी डीन के रूप में शामिल हुईं। बायोस्टैटिस्टिक्स में अग्रणी मुखर्जी का शोध आनुवंशिक, पर्यावरणीय और स्वास्थ्य सेवा डेटा एकीकरण तक फैला हुआ है। इसमें पुरानी बीमारियों, पर्यावरणीय महामारी विज्ञान और प्रजनन स्वास्थ्य पर ध्यान केंद्रित किया गया है। उन्होंने कैंसर और हृदय संबंधी अनुसंधान के साथ-साथ COVID-19 डेटा विश्लेषण में भी महत्वपूर्ण योगदान दिया है।
मुखर्जी येल में एडिशनल पदों पर भी हैं। इनमें सांख्यिकी और डेटा विज्ञान विभाग में एक माध्यमिक नियुक्ति और मैकमिलन सेंटर और इंस्टीट्यूट फॉर द फाउंडेशंस ऑफ डेटा साइंस से संबद्धता शामिल है। वह अमेरिकन स्टैटिस्टिकल एसोसिएशन, अमेरिकन एसोसिएशन फॉर द एडवांसमेंट ऑफ साइंस और नेशनल एकेडमी ऑफ मेडिसिन की फेलो भी हैं।
मुखर्जी ने 1994 में कोलकाता के प्रेसीडेंसी कॉलेज से सांख्यिकी में बी.एससी., 1996 में भारतीय सांख्यिकी संस्थान से एम.स्टैट की डिग्री और पर्ड्यू विश्वविद्यालय से सांख्यिकी में पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। वह पहले मिशिगन विश्वविद्यालय में सेवा कर चुकी हैं, जहां उन्होंने कई प्रतिष्ठित पदों और नेतृत्व पदों पर काम किया है।
ADVERTISEMENT
ADVERTISEMENT
Comments
Start the conversation
Become a member of New India Abroad to start commenting.
Sign Up Now
Already have an account? Login