न्यूयॉर्क और आसपास के राज्यों में रहने वाले प्रवासी बिहारी समुदाय ने भारतीय वाणिज्य दूतावास में बिहार दिवस का भव्य आयोजन किया और मातृभूमि की समृद्ध विरासत और वैश्विक पहचान का उत्सव मनाया।
कार्यक्रम का आयोजन न्यूयॉर्क स्थित वाणिज्य दूतावास ने बिहार फाउंडेशन यूएसए (ईस्ट कोस्ट चैप्टर) और बिहार झारखंड एसोसिएशन ऑफ नॉर्थ अमेरिका (BJANA) के सहयोग से किया। इसका उद्देश्य बिहार की सांस्कृतिक धरोहर, पर्यटन और खानपान संस्कृति को बढ़ावा देना था।
समारोह में न्यूयॉर्क स्थित भारतीय वाणिज्य दूतावास के कौंसुल जनरल बिनय प्रधान ने बिहार विश्व गौरव सम्मान प्रदान किए। यह सम्मान चार प्रमुख प्रवासी बिहारी हस्तियों- प्रकाश झा, अभिषेक तिवारी, शरद कुमार और महेश कुमार को समाज, व्यापार एवं संस्कृति में उत्कृष्ट योगदान के लिए दिए गए।
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कौंसुल जनरल बिनय प्रधान ने अपने संबोधन में कहा कि बिहार ने भारतीय शिक्षा, इतिहास एवं संस्कृति में अमूल्य योगदान दिया है। दुनिया का पहला आवासीय विश्वविद्यालय नालंदा विश्वविद्यालय बिहार की बौद्धिक समृद्धि का प्रमाण है। भारत के पहले राष्ट्रपति डॉ. राजेंद्र प्रसाद और शून्य की खोज करने वाले महान गणितज्ञ आर्यभट्ट का योगदान इतिहास में अमर है।
प्रधान ने आगे कहा कि हमें खुशी है कि भारतीय प्रवासी अमेरिका में उल्लेखनीय सफलता हासिल कर रहे हैं। इसके बावजूद वे भारत से न केवल सांस्कृतिक रूप से जुड़े हैं बल्कि परोपकारी कार्यों, निवेश और द्विपक्षीय आर्थिक संबंधों को मजबूत बनाने में भी योगदान दे रहे हैं।
कार्यक्रम में प्रसिद्ध लोकगायिका और पद्म भूषण पुरस्कार से सम्मानित स्वर्गीय शारदा सिन्हा को विशेष श्रद्धांजलि दी गई। भोजपुरी, मैथिली और मगही लोक संगीत में उनके अमूल्य योगदान को एक वीडियो के माध्यम से दर्शाया गया।
इस अवसर पर बिहार झारखंड एसोसिएशन ऑफ नॉर्थ अमेरिका (BJANA) के 50 वर्ष पूरे होने का भी जश्न मनाया गया। संगठन ने प्रवासी बिहारी समुदाय को एकजुट करने और विदेशों में बिहार की सांस्कृतिक धरोहर को संरक्षित व प्रचारित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
बिहार दिवस हर साल 22 मार्च को होता है। यह दिवस 1912 में बिहार के गठन की ऐतिहासिक घटना की याद में मनाया जाता है, जब ब्रिटिश शासन के दौरान इसे बंगाल से अलग करके स्वतंत्र प्रांत बनाया गया था।
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