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कनाडा में ट्रूडो सरकार के खिलाफ तीसरा अविश्वास प्रस्ताव, वोटिंग से पहले विपक्ष में फूट

इससे पहले अल्पसंख्यक लिबरल सरकार के खिलाफ दो अविश्वास प्रस्ताव पिछले महीने गिर गए थे क्योंकि ब्लॉक क्यूबेकोइस और एनडीपी ने उनके खिलाफ वोटिंग की थी। 

जस्टिन ट्रूडो सरकार के खिलाफ ये तीसरा अविश्वास प्रस्ताव है। / X @JustinTrudeau

कनाडा में प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। अब उनके खिलाफ तीसरा अविश्वास प्रस्ताव पेश किए जाने की तैयारी है। हालांकि इसे लेकर विपक्षी दलों में मतभेद हो गए हैं। 

मुख्य विपक्षी दल कंजर्वेटिव पार्टी ने न्यू डेमोक्रेट्स के नेता जगमीत सिंह के हालिया बयानों को आधार बनाकर ट्रूडो सरकार के खिलाफ हाउस ऑफ कॉमन्स में अविश्वास प्रस्ताव पेश करने की बात कही है। 

कंजरवेटिव पार्टी ने बड़ी चतुराई से जगमीत सिंह के बयान का हवाला देते हुए अविश्वास प्रस्ताव का मसौदा तैयार किया है, जबकि इस साल की शुरुआत में अल्पमत वाली लिबरल सरकार के साथ विश्वास और आपूर्ति समझौते को खारिज कर दिया था।

हालांकि एनडीपी के नेता जगमीत सिंह ने कहा है कि वह ट्रूडो सरकार को गिराने के कंजर्वेटिव नेता पियरे पोइलीवरे के खेल का मोहरा नहीं बनेंगे। वह इस वक्त देश में चुनाव थोपने नहीं देंगे। हमारा मानना है कि पोइलीवरे अगर सत्ता में आए तो उन कार्यक्रमों में कटौती करेंगे जिनके लिए एनडीपी लड़ रहा है। 

ये अविश्वास प्रस्ताव गुरुवार को सदन में पेश किए जाने की संभावना है। इस पर बहस और मतदान सोमवार की तारीफ तय की जा सकती है। इससे पहले अल्पसंख्यक लिबरल सरकार के खिलाफ दो अविश्वास प्रस्ताव पिछले महीने गिर गए थे क्योंकि ब्लॉक क्यूबेकोइस और एनडीपी ने उनके खिलाफ वोटिंग की थी। 

जगमीत सिंह ने कहा कि मैं पियरे पोइलीवरे के खेल का हिस्सा नहीं बनूंगा। इसमें मुझे कोई दिलचस्पी नहीं है। हम उन चीजों में कटौती की अनुमति नहीं देंगे जिनकी लोगों को जरूरत है। मैं चाहता हूं कि लोगों को हमारे द्वारा पारित फार्मा केयर कानून से लाभ मिले। 

एनडीपी के अपेक्षित समर्थन के साथ, उदारवादियों को कंजर्वेटिव द्वारा आगे लाए गए इस अगले विश्वास मत से बचना चाहिए। कंजर्वेटिव द्वारा पहले पेश किए गए दो अविश्वास प्रस्तावों के दौरान, ब्लॉक क्यूबेकोइस और एनडीपी दोनों ने प्रस्तावों के खिलाफ मतदान किया। 

टोरीज़ ने कहा है कि उसे जब भी मौका मिलेगा, वह अविश्वास प्रस्ताव लेकर आएगा। इस अविश्वास प्रस्ताव के बाद उसके पास दो और प्रस्ताव लाने का अधिकार है। 
 

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