महज 27 साल की उम्र में भारतीय अमेरिकी सिमी शाह ने अपनी उपलब्धियों का स्तर काफी ऊंचा कर दिया है। उन्होंने वह मुकाम हासिल किया है, जिसके लिए लोग पूरी ज़िंदगी मेहनत करते हैं। व्हाइट हाउस और न्यूयॉर्क स्टॉक एक्सचेंज का दौरा, प्रभावशाली लोगों के सामने भाषण और कहानी कहने की कला, बड़े-बड़े अधिकारियों से जुड़ना और ऐसी सोच विकसित करना जो नए दृष्टिकोण गढ़े। हाल ही में, उन्हें अपने क्रांतिकारी कार्यों के लिए Forbes 30 Under 30 में सम्मानित किया गया है। उनके साथ खास बातचीत...
शाह 'South Asian Trailblazers' की संस्थापक हैं। यह एक ऐसा मंच है जो विभिन्न क्षेत्रों में अग्रणी दक्षिण एशियाई व्यक्तित्वों की आवाज को ऊंचा उठाने के लिए समर्पित है। उन्होंने अक्षय कुमार और नोवार्टिस के सीईओ वास नरसिम्हन जैसे दिग्गजों का इंटरव्यू लिया है। कई उन स्थानीय कलाकारों की आवाज को बढ़ाया है, जिन्हें लंबे समय से पर्याप्त पहचान नहीं मिली थी। उनकी मीडिया कंपनी का उद्देश्य स्पष्ट है—दक्षिण एशियाई समुदाय के लिए सफलता की नई परिभाषा गढ़ना और एक स्थायी मंच तैयार करना।
भारतीय बाजार में दस्तक
अब, यह मीडिया उद्यमी अपनी महत्वाकांक्षाओं को और आगे ले जाते हुए भारतीय बाज़ार में विस्तार करने की योजना बना रही हैं। शाह का कहना है, 'भारत में क्रिएटर इकोनॉमी और मीडिया मार्केट तेज़ी से बढ़ रहा है। यहां इतनी ऊर्जा, प्रतिभा और एक उत्साही दर्शक वर्ग है, तो क्यों नहीं? पिछले कुछ वर्षों में जब भी मैं मुंबई गई हूं, वहां की क्रिएटिविटी, मेहनत और वाइब से प्रेरित हुई हूं।' सिमी शाह का भारत से हमेशा गहरा नाता रहा है। उनके विस्तारित परिवार और बार-बार भारत आने के कारण वह यहां की संस्कृति, मूल्य प्रणाली और विरासत से अच्छी तरह जुड़ी हुई हैं। उन्होंने भारतीय पेशेवर परिवेश में भी खुद को सहजता से समाहित कर लिया है, जहां वे पूर्व सहयोगियों और उद्योग से जुड़े प्रभावशाली लोगों के साथ रिश्ते बना रही हैं।
मुंबई में पहला बड़ा इवेंट
उनका अगला कदम मुंबई में अपना पहला बड़ा इवेंट आयोजित करना है, जहां बॉलीवुड, बिजनेस, सरकार और अन्य क्षेत्रों के प्रतिष्ठित नाम एक साथ आएंगे। वह अन्य कंटेंट क्रिएटर्स और उद्यमियों के साथ सहयोग करने की भी योजना बना रही हैं, जिनके कार्यों की वह हमेशा से प्रशंसा करती आई हैं। हाल ही में, उन्होंने 'Humans of Bombay' की संस्थापक करिश्मा मेहता को न्यूयॉर्क में अपने प्रमुख पॉडकास्ट पर आमंत्रित किया। शाह कहती हैं, 'मैं भारत के कई प्रमुख पॉडकास्टर्स नव्या नंदा, रणवीर अल्लाबादिया, अवंती नागराल और करिश्मा मेहता जैसे कलाकार और क्रिएटर्स की प्रशंसा करती हूं। मैं इनसे बहुत कुछ सीख सकती हूं। मैं किसी से भी मिलने को तैयार हूं, जो बातचीत के लिए इच्छुक हो।'
दक्षिण एशियाई और भारतीय मीडिया
हार्वर्ड ग्रेजुएट और व्हार्टन एमबीए धारक शाह का पालन-पोषण एक उद्यमशील वातावरण में हुआ है, जिससे उन्हें मीडिया उद्योग और उसके भौगोलिक अंतरों की गहरी समझ है। वह स्पष्ट करती हैं, 'जो लोग सोचते हैं कि अमेरिकी या ब्रिटिश डायस्पोरा के लिए कंटेंट बनाना और भारतीय दर्शकों के लिए कंटेंट बनाना समान है, वे गलत हैं। दोनों में बहुत अंतर है।'
वह आगे कहती हैं, 'यही कारण है कि मैंने दक्षिण एशिया के नेताओं और लोगों से बातचीत में बहुत समय बिताया है। यह केवल प्रतिनिधित्व की बात नहीं है, बल्कि प्रभावशाली कहानी कहने की कला है। मुझे भारत के लोगों में सीखने की अंतर्निहित इच्छा बहुत पसंद है। यह उनकी संस्कृति में समाहित है। वे प्रेरणादायक कंटेंट को बहुत पसंद करते हैं, और यही हम 'Trailblazers' में करते हैं।'
भारतीय मीडिया बाजार में एंट्री
शाह का भारतीय बाजार में विस्तार अभी प्रारंभिक चरण में है, लेकिन उनकी कुछ महत्वपूर्ण पहलों ने पहले ही गति पकड़ ली है। वे कहती हैं, 'हम उन नेताओं और ब्रांड्स के साथ बातचीत कर रहे हैं, जिन्होंने हमारे साथ सहयोग करने में रुचि दिखाई है। साथ ही, हमने पहले से ही कुछ नींव रख दी है। करीब डेढ़ साल पहले मैंने दीपा खोसला, अक्षय कुमार, नोरा फतेही और जसलीन रॉयल का इंटरव्यू लिया था। जसलीन ने हाल ही में मुंबई में Coldplay के साथ एक शानदार कॉन्सर्ट किया जबकि, नोरा फतेही ने अमेरिकी कलाकार जेसन डेरुलो के साथ कोलैब किया।'
इन एपिसोड्स को भारतीय दर्शकों से जबरदस्त प्रतिक्रिया मिली, जिससे यह संकेत मिला कि यहां के लोगों को किस प्रकार का कंटेंट पसंद आता है। उनकी टीम सोशल मीडिया का भी उपयोग कर रही है ताकि भारत और दक्षिण एशिया के दर्शकों के बीच उनकी उपस्थिति मजबूत हो सके।
भारतीय अर्थव्यवस्था और ‘रिवर्स ब्रेन ड्रेन’
हाल ही में भारत की यात्रा के दौरान, शाह ने यहां बदलते हुए ट्रेंड्स, कंटेंट खपत और उससे जुड़ी जटिलताओं को समझने में समय बिताया। उन्होंने एक खास पहलू पर जोर दिया—'रिवर्स ब्रेन ड्रेन'। शाह का मानना है कि यह कोई नई प्रवृत्ति नहीं है, लेकिन हाल के वर्षों में यह फिर से तेजी से बढ़ रही है। उन्होंने कहा, 'अब पहले से अधिक भारतीय पेशेवर विदेश से वापस आकर अपने देश में समय, ऊर्जा और संसाधनों का निवेश करना चाहते हैं और यहीं अपना करियर बनाना चाहते हैं। यह भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए बहुत अच्छा संकेत है।'
इसके अलावा, वह अमेरिका और भारत के बीच मजबूत होती साझेदारी को लेकर भी आशान्वित हैं। वह कहती हैं, 'चाहे राजनीतिक परिस्थितियां जैसी भी हों, यह देखना सुखद है कि अमेरिका और भारत के बीच संबंधों को मजबूत करने में निरंतर निवेश किया जा रहा है। यह आर्थिक वृद्धि को बढ़ावा देने, रणनीतिक सहयोग को मजबूत करने और नवाचार व प्रतिभा के आदान-प्रदान के लिए अवसर पैदा करने में मदद करेगा।'
युवाओं को संदेश
शाह के सफर में कई चुनौतियां आईं, लेकिन वह मानती हैं कि इन अनुभवों ने उन्हें मजबूत बनाया है। वह युवा पेशेवरों और करियर की शुरुआत करने वालों को सलाह देती हैं। उनका कहना है, 'बस शुरुआत करें। ज़रूरत से ज़्यादा विश्लेषण में मत उलझें। 'परफेक्ट शुरुआत' की तलाश में मत रहें। इसे मैं 'Analysis Paralysis' कहती हूं। लोग इस सोच में फंस जाते हैं कि पहली बार में ही सब कुछ सही होना चाहिए—नाम, लोगो, ब्रांड आदि। लेकिन ऐसा कुछ नहीं होता। आप सबसे ज्यादा सीखते हैं जब आप शुरुआत करते हैं। मैंने भी कई गलतियां की हैं, जिनका एहसास मुझे अब 5 साल बाद हो रहा है, लेकिन अगर आप शुरुआत नहीं करेंगे, तो आगे नहीं बढ़ पाएंगे। मेरा सुझाव है कि खुद को आगे बढ़ाइए और प्रक्रिया में सहज महसूस करना सीखिए।'
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