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भारतीय सितार वादक अनुष्का शंकर को 67वें ग्रैमी अवॉर्डर सेरेमनी में मिला खास मौका

उन्होंने कहा कि 67वें ग्रैमी प्रीमियर समारोह में एक प्रेजेंटेटर के रूप में हिस्सा लेना रोमांच की बात है! आखिरी बार मैंने 2016 में प्रेजेंटेशन दी थी।

भारतीय मूल की ब्रिटिश-अमेरिकी संगीतकार अनुष्का शंकर को 11 ग्रैमी नामांकन भी मिले हैं।  / X @ShankarAnoushka

भारतीय मूल की चर्चित सितार वादक अनुष्का शंकर को आगामी 2 फरवरी को होने वाले 67वें ग्रैमी अवार्ड्स की प्रेजेंटेटर बनाने का ऐलान किया गया है। भारतीय मूल की ब्रिटिश-अमेरिकी संगीतकार अनुष्का को 11 ग्रैमी नामांकन मिले हैं। 

अनुष्का ने इस वैश्विक संगीत कार्यक्रम में भारत का प्रतिनिधित्व करने का अवसर मिलने पर उत्साह व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि 67वें ग्रैमी प्रीमियर समारोह में एक प्रेजेंटेटर के रूप में हिस्सा लेना रोमांच की बात है! आखिरी बार मैंने 2016 में प्रेजेंटेशन दी थी। वाह कितना असाधारण दिन था। मुझे अपने शास्त्रीय एल्बम 'होम' के लिए 5वें ग्रैमी नॉमिनेशन मिला था। मैं खुद भी समारोह में शामिल होने वाली पहली भारतीय संगीतकार थी। 

उन्होंने आगे कहा कि पिछले नौ वर्षों में हालांकि व्यक्तिगत और वैश्विक स्तर पर काफी कुछ बदल गया है। मैं खुद को एक बार फिर से वैश्विक मंच पर भारत का प्रतिनिधित्व करने का अद्भुत न्योता मिलने से खुश हूं। 

अनुष्का महान सितारवादक रविशंकर की बेटी हैं। संगीत की शास्त्रीय और समकालीन दोनों विधाओं में उनकी महारत है। उन्होंने इलेक्ट्रॉनिक म्यूजिक प्रोड्यूसर कर्ष काले और जैज़ संगीतकार जैकब कोलियर सहित अन्य प्रतिष्ठित कलाकारों के साथ काम किया है।

शंकर को इस साल दो श्रेणियों में नामांकित किया गया है। ये नॉमिनेशन उनकी एल्बम चैप्टर II: हाउ डार्क इट इज़ बिफोर डॉन और कोलियर के ए रॉक समवेयर को मिले हैं। उन्हें बेस्ट न्यू एज, एंबिएंट या चैंट एल्बम और बेस्ट ग्लोबल म्यूजिक जैसी श्रेणियों में 10वां और11 वां ग्रैमी नोड्स मिला है।

बता दें कि 67वें ग्रैमी अवार्ड्स को live.grammy.com पर लाइव स्ट्रीम किया जाएगा। इस समारोह में इकट्ठा होने वाले धन का इस्तेमाल लॉस एंजिल्स की आग में राहत उपायों में किया जाएगा। सेरेमनी में क्रिस मार्टिन, सिंथिया एरिवो, जॉन लीजेंड और स्टीवी वंडर जैसे कलाकार फीचर परफॉर्मेंस देंगे। 

अनुष्का शंकर के बारे में बताएं तो उन्होंने वैश्विक संगीत समुदाय में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। वह ब्रिटिश हाउस ऑफ कॉमन्स शील्ड प्राप्त करने वाली सबसे कम उम्र की और पहली महिला हैं। ग्रैमी में प्रस्तोता और नामांकित दोनों के रूप में उनकी उपस्थिति उनके करियर और वैश्विक संगीत में भारतीय प्रतिनिधित्व के लिए एक मील का पत्थर है।

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