कुवैत में सरकार की तरफ से एमनेस्टी स्कीम शुरू किए जाने के बाद भारतीय दूतावास में आवेदनों और इससे संबंधित पूछताछ करने वालों की संख्या काफी बढ़ गई है। दूतावास के अधिकारियों ने विश्वास दिलाया है कि वे कांसुलर सेवाएं प्रदान करने का कार्य पूरी लगन के कर रहे हैं और सुनिश्चित कर रहे हैं कि योजना का लाभ उठाने से कोई भी पात्र वंचित न रहे।
दूतावास की तरफ से सोशल मीडिया साइट एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर जारी एक पोस्ट में कहा गया है कि एंबेसी इमरजेंसी सर्टिफिकेट और पासपोर्ट को प्राथमिकता के आधार पर जारी करने का काम कर रही है। साथ ही, अन्य कॉन्सुलर सेवाएं प्रदान करना भी सुनिश्चित कर रही है। अगर ट्रैवल डॉक्युमेंट्स को लेकर नियमों में कोई बदलाव होता है तो उसकी सूचना दी जाएगी।
एंबेसी ने दो नंबर जारी करते हुए कहा है कि अगर किसी भारतीय नागरिक को मदद की आवश्यकता हो तो वह इन नंबरों पर संपर्क कर सकता है। ये नंबर हैं- +965 65501767 और +965 65501769।
भारी मांग को देखते हुए दूतावास कुवैत में भारतीय नागरिकों को आपातकालीन प्रमाण पत्र और पासपोर्ट जारी करने को प्राथमिकता दे रहा है। इसका उद्देश्य एमनेस्टी स्कीम के तहत वापस जाने वालों या विवादों के समाधान की मांग करने वालों को त्वरित सहायता प्रदान करना है।
कुवैती सरकार द्वारा घोषित इस माफी योजना के तहत देश में बिना उचित दस्तावेजों के रहने वाले व्यक्तियों को अपना स्टेटस सुधारने या सुरक्षित रूप से अपने देश लौटने के लिए एक अवसर प्रदान किया जा रहा है। इससे कई लोगों में उम्मीद जगी है कि उनकी समस्याओं का समाधान हो सकेगा। सरकार की इस योजना का लाभ भारतीयों तक पहुंचाने के लिए दूतावास सक्रिय रूप से जुटा हुआ है।
कुवैत के आंतरिक मंत्रालय ने देश के निवास नियमों का उल्लंघन करने वाले लोगों को राहत देने के लिए तीन महीने तक इस योजना को चलाने का ऐलान किया है। इसके तहत, देश में अवैध रूप से रहने वाले प्रवासी अब अपने जुर्माने का सेटलमेंट करके नया निवास परमिट प्राप्त कर सकते हैं या फिर दंड का भुगतान किए बिना देश छोड़कर जा सकते हैं।
यह माफी कार्यक्रम रमजान के महीने के साथ 17 मार्च से 17 जून तक प्रभावी रहेगा। कानूनी दस्तावेज के बिना कुवैत में रहने वाले प्रवासी प्रति दिन 6.60 अमेरिकी डॉलर (2 कुवैती दिनार) का जुर्माना देकर अपन स्टेटस नियमित कर सकते हैं। जुर्माने की यह रकम 1980 अमेरिकी डॉलर (600 कुवैती दीनार) से ज्यादा नहीं होगी।
जो लोग जुर्माना भरने में असमर्थ हैं, उनके पास देश छोड़ने का विकल्प होगा। हालांकि उन्हें लौटने से पहले तयशुदा नई प्रक्रियाओं का पालन करना होगा। कुवैती सरकार ने साफ कहा है है कि इस माफी अवधि के दौरान निर्देशों का पालन करने में नाकाम लोगों को निर्वासन या कानूनी परिणामों का सामना करना पड़ सकता है।
योजना के तहत प्रशासनिक अड़चनों या कानूनी मसलों का सामना करने वाले लोग अपने केस के मूल्यांकन एवं सहायता के लिए रेजीडेंसी मामलों के विभाग से अपील कर सकते हैं।
माना जाता है कि कुवैत में हजारों प्रवासी अवैध रूप से रह रहे हैं। हालांकि इनकी सटीक संख्या की जानकारी नहीं है। कुवैत रकार ने पिछली बार 20 21 की शुरुआत में इसी तरह की माफी योजना चलाई थी।
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