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US कोर्ट ने भारतीय नागरिक को इसलिए 35 साल के लिए सलाखों के पीछे भेज दिया

साई कुमार कुर्मुला पर सोशल मीडिया के जरिए नाबालिग लड़कियों के साथ यौन शोषण का आरोप था। आरोपी खुद को 13 से 15 साल का लड़का बताकर नाबालिग बच्चियों का भरोसा जीतता था। कोर्ट ने कहा कि आरोपी ने पीड़ितों पर ऐसा सदमा दिया है जो उनके जीवन भर रहेगा। 

प्रतीकात्मक तस्वीर / Pexels

भारतीय नागरिक साई कुमार कुर्मुला को अमेरिका में 35 साल की सजा सुनाई गई है। उन पर सोशल मीडिया के जरिए नाबालिगों से यौन शोषण का आरोप था। एक अमेरिकी अटॉर्नी ने शुक्रवार को ये जानकारी दी। 27 मार्च को हुई सुनवाई में ओक्लाहोमा के यूएस डिस्ट्रिक्ट जज चार्ल्स गुडविन ने कुर्मुला को यह सजा सुनाई। इसके बाद उन्हें उम्रकैद तक सुपरवाइज्ड रिलीज में रहना होगा। मतलब, जेल से बाहर निकलने के बाद भी वो पुलिस की निगरानी में रहेंगे।

यूनाइटेड स्टेट्स अटॉर्नी रॉबर्ट जे. ट्रॉएस्टर ने कहा, 'आरोपी ने कई बच्चों का शोषण, हेराफेरी और उनके साथ जबरदस्ती की। जिसके लिए कोर्ट द्वारा दी गई 35 साल की सजा बिलकुल सही है। ये मामला दूसरों के लिए एक साफ चेतावनी है कि जो लोग हमारे बच्चों का शोषण और उत्पीड़न करते हैं, उनको सख्त से सख्त सजा मिलेगी।'

सुनवाई के दौरान पेश किए गए सरकारी दस्तावेजों और सबूतों में दावा किया गया कि कुर्मुला ने स्नैपचैट के जरिए कम से कम 19 नाबालिगों का यौन शोषण किया। सरकारी वकीलों का दावा है कि आरोपी अक्सर खुद को 13 से 15 साल का लड़का बताकर बच्चों का भरोसा जीतता था। जब बच्चे उसकी बात नहीं मानते, तो कुर्मुला उन्हें धमकाता, डराता और ब्लैकमेल करता था ताकि वो बच्चों की और भी अश्लील तस्वीरें और वीडियो बनाएं।

कुर्मुला ने 18 जून, 2020 को अपनी गुनाह कबूल कर ली थी। उसने तीन नाबालिगों का यौन शोषण करने और जानबूझकर बच्चों की अश्लील तस्वीरों को ले जाने-भेजने की बात मानी थी।

खास बात ये है कि कुर्मुला ने माना कि बच्चों को डराने-धमकाने के लिए उसने एक पीड़िता को धमकी दी कि वो उसके घर जाएगा और उसके माता-पिता को उसकी अश्लील तस्वीरें दिखाएगा। दूसरी पीड़िता को धमकी दी कि वो उसके घर आएगा और उसके परिवार को गोली मार देगा। तीसरी पीड़िता को धमकी दी कि वो उसकी अश्लील तस्वीरें और वीडियो को पब्लिक करेगा। ये जानकारी एक प्रेस विज्ञप्ति में दी गई है।

सजा सुनाते समय जज गुडविन ने कहा कि ये ऐसे अपराध हैं जिन्हें समाज सबसे गंभीर अपराध मानता है क्योंकि इनमें बहुत कमजोर पीड़ित शामिल होते हैं। गुडविन ने आगे बताया कि कुर्मुला ने नाबालिग पीड़िता लड़कियों को ऐसा सदमा दिया है जो उनके और उनके परिवारों के जीवन में हमेशा बना रहेगा। इसलिए उसे इतनी लंबी सजा दी गई है।

 

 

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