भारतीय अमेरिकी समुदाय से जुड़े संगठन, इंडो-अमेरिकन फेस्टिवल्स (IAF) ने 5 अक्टूबर को न्यू जर्सी के एडिसन स्थित लेक पापायन्नी पार्क में अपना 26वां सालाना ग्रैंड दशहरा फेस्टिवल मनाया।इस पूरे दिन चलने वाले इवेंट में भारतीय संस्कृति और अच्छाई की बुराई पर जीत का जश्न मनाया गया। इसमें जीवंत परफॉर्मेंस, पारिवारिक गतिविधियां और पारंपरिक भारतीय खाना शामिल था। इस कार्यक्रम में 15000 से अधिक लोग शामिल हुए।
फेस्टिवल की शुरुआत प्रतिभा निचकवड़े द्वारा तैयार किए गए परफॉर्मेंस की एक सीरीज के साथ हुई जिसमें 22 गाने और डांस शामिल थे। दिन का मुख्य आकर्षण 'रामलीला' का परफॉर्मेंस था जो वर्षा नाइक के ग्रुप द्वारा 85 कलाकारों के साथ किया गया। इन कलाकारों में बच्चे से लेकर बुजुर्ग तक शामिल थे।
दूसरे साल लगातार, इस इवेंट में 15 फुट ऊंची हनुमान की मूर्ति थी जो कि अमेरिका के किसी भी दशहरा फेस्टिवल में इस तरह की सबसे बड़ी मूर्ति है। इसके साथ ही एक विशेष 'महाआरती' भी की गई। कार्यक्रम का समापन 'रावण दहन' के साथ हुआ। इसमें 25 फुट ऊंचे रावण के प्रतिमा को जलाया गया। यह भगवान राम की जीत और बुराई की हार का प्रतीक है। कृष्ण सिंघल द्वारा बनाई गई रावण की प्रतिमा ने दर्शकों को मोहित कर दिया जब उसे जलाया गया और इस जश्न का समापन हुआ।
दूसरे साल लगातार इस इवेंट में 15 फुट ऊंची हनुमान की मूर्ति आकर्षण का केंद्र थी। / Image - IAF/ Raj Mittalकार्यक्रम में मौजूद लोगों ने वतन जैसे विक्रेताओं से भारतीय और अन्य व्यंजनों का आनंद लिया। 'मीना बाजार' में 150 से अधिक स्टॉल थे जहां पारंपरिक कपड़े, गहने और हस्तशिल्प बिक रहे थे। अमेरिका के अग्रवाल समाज द्वारा आयोजित एक मुफ्त स्वास्थ्य जांच शिविर भी आयोजित कराया गया था।
कार्यक्रम का समापन 'रावण दहन' के साथ हुआ। इसमें 25 फुट ऊंचे रावण के प्रतिमा को जलाया गया। / Image - IAF/ Raj Mittalविशिष्ट अतिथियों में एडिसन के काउंसिलमैन अजय पाटिल और ग्रैमी अवार्ड विजेता कलाकार फाल्गुनी शाह शामिल थे। इस कार्यक्रम को कई प्रायोजकों और स्वयंसेवकों का समर्थन प्राप्त था। इसमें मिडलसेक्स काउंटी बोर्ड ऑफ चोसेन फ्रीहोल्डर्स और न्यू जर्सी स्टेट काउंसिल फॉर द आर्ट्स से अनुदान भी शामिल रहा।
1999 में दिवंगत मंगल गुप्ता द्वारा स्थापित IAF एक गैर-लाभकारी संगठन है जो न्यू जर्सी में वार्षिक दशहरा उत्सव के माध्यम से सांस्कृतिक विरासत को बढ़ावा देने के लिए समर्पित है। यह उत्सव, जो सालाना 12,000 से अधिक दर्शकों को आकर्षित करता है, जनता के लिए मुफ्त है।
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