अमेरिकी प्रतिनिधि सभा (यूएस हाउस ऑफ रिप्रेजेंटेटिव्स) ने भारतीय-अमेरिकी चिकित्सक डॉ. संपत शिवांगी को श्रद्धांजलि दी, जिनका 10 फरवरी को ब्रेन हेमरेज के बाद एक अस्पताल में निधन हो गया। मिसिसिपी स्टेट बोर्ड ऑफ मेंटल हेल्थ के लंबे समय तक सदस्य रहे शिवांगी को स्वास्थ्य सेवा, जनसेवा और भारत-अमेरिका संबंधों में उनके महत्वपूर्ण योगदान के लिए सम्मानित किया गया।
मिसिसिपी से प्रतिनिधि माइकल गेस्ट (R-MS) ने 24 मार्च 2025 को अमेरिकी प्रतिनिधि सभा में श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा, “डॉ. शिवांगी दृढ़ संकल्प, दूरदृष्टि और स्वास्थ्य सेवा के प्रति समर्पण के प्रतीक थे। उनका करियर चिकित्सा, सार्वजनिक स्वास्थ्य और भारत-अमेरिका संबंधों को मजबूत करने के प्रति उनकी प्रतिबद्धता से परिभाषित होता है।”
1976 में अमेरिका आए थे शिवांगी
1976 में अमेरिका में प्रवास करने वाले डॉ. शिवांगी समाज के हाशिए पर मौजूद वर्गों के लिए एक मजबूत समर्थक थे। उन्होंने 2005 से 2008 तक अमेरिका के स्वास्थ्य और मानव सेवा सचिव (यूएस सेक्रेटरी ऑफ हेल्थ एंड ह्यूमन सर्विसेज) के सलाहकार के रूप में भी कार्य किया। उनके असाधारण योगदान के लिए उन्हें एलिस आइलैंड मेडल ऑफ ऑनर और प्रवासी भारतीय दिवस सम्मान पुरस्कार जैसे प्रतिष्ठित सम्मान मिले।
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भारत और अमेरिका में स्वास्थ्य सेवा के लिए अहम योगदान
अपने संबोधन में, प्रतिनिधि गेस्ट ने डॉ. शिवांगी के परोपकारी योगदान का विशेष रूप से उल्लेख किया, जिसमें डॉ. संपत शिवांगी चैरिटेबल फाउंडेशन और कर्नाटक के बेलगावी में एक कैंसर अस्पताल की स्थापना शामिल है। उन्होंने कहा, "डॉ. शिवांगी ने वंचित क्षेत्रों में स्वास्थ्य सेवा की पहुंच बढ़ाने के लिए अथक प्रयास किए। अपने जीवन के अंतिम महीनों तक वे भारत और अमेरिका में सक्रिय रूप से योगदान देते रहे।"
राजनीति और सामुदायिक नेतृत्व में भी प्रभावशाली भूमिका
डॉ. शिवांगी का प्रभाव सिर्फ चिकित्सा क्षेत्र तक सीमित नहीं था, बल्कि उन्होंने भारतीय-अमेरिकी समुदाय में स्वास्थ्य सेवाओं की वकालत में भी अहम भूमिका निभाई। गेस्ट ने कहा, "मुझे गर्व है कि मैंने डॉ. शिवांगी को जाना और उनकी चिकित्सा पेशे, मानसिक स्वास्थ्य जागरूकता और अमेरिका व भारत में लोगों के जीवन को बेहतर बनाने के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को सम्मानित करने का अवसर पाया।"
डॉ. संपत शिवांगी की विरासत उनके उल्लेखनीय कार्यों के रूप में हमेशा जीवित रहेगी।
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