भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर ने रविवार को कहा कि खालिस्तानी समर्थक तत्वों के संबंध में अमेरिका और कनाडा द्वारा भारत के साथ उठाए गए हालिया मुद्दे 'एक जैसे नहीं' हैं। भारत किसी भी देश की चिंताओं पर गौर करने के लिए हमेशा तैयार है। बेंगलुरु में आयोजित एक कार्यक्रम में जयशंकर ने कहा कि भारत एक 'बहुत जिम्मेदार' देश है और अगर किसी देश को कोई चिंता है तो वह इस मामले को देखने के लिए तैयार है।
दरअसल, जयशंकर दोनों मामले का जिक्र कर रहे थे। कनाडा के आरोप कि खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारतीय एजेंट शामिल थे। साथ ही अमेरिका का हालिया आरोप कि चरमपंथी गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या की नाकाम साजिश के पीछे कथित तौर पर भारत का हाथ था।
EAM @DrSJaishankar spoke on A Decade of Change at the Rotary Institute 2023 in #Bengaluru today.
— Office of Dr. S. Jaishankar (@sjaishankaroffc) December 17, 2023
EAM highlighted 10 achievements for decade: https://t.co/CjiIGNFBpY pic.twitter.com/UEEfNFzKYM
जयशंकर ने कहा कि मुझे लगता है कि हर कोई जानता है कि भारत एक ऐसा देश है जहां हम जो करते हैं उसके लिए बहुत जिम्मेदार हैं। हम बहुत विवेकपूर्ण हैं और हमने हमेशा इसे बनाए रखा है। कनाडा ही नहीं, अगर किसी भी देश को कोई चिंता है और वह हमें उस चिंता के लिए कुछ इनपुट या कुछ आधार देता है, तो हम हमेशा उस पर गौर करने के लिए तैयार हैं।
उन्होंने कहा कि भारत ने कनाडा से कहा है कि यह उन पर निर्भर करता है कि वे चाहते हैं कि भारत आरोपों को आगे बढ़ाए या नहीं। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि अमेरिका द्वारा उठाया गया मुद्दा अलग है। पन्नू की हत्या की कथित साजिश के सिलसिले में निखिल गुप्ता पर अमेरिका द्वारा अभियोग लगाए जाने के बारे में उन्होंने कहा कि जब अमेरिकियों ने यह मुद्दा उठाया तो उन्होंने हमें कुछ खास बातें बताईं और भारत इस पर गौर कर रहा है। अंतरराष्ट्रीय संबंधों में समय-समय पर ऐसी चुनौतियां पैदा हो सकती हैं।
इससे पहले नवंबर में अमेरिकी न्याय विभाग ने एक भारतीय नागरिक के खिलाफ सिख अलगाववादी आंदोलन के एक अमेरिकी नेता और न्यूयॉर्क में एक नागरिक की हत्या की नाकाम साजिश में कथित संलिप्तता के लिए अभियोग लगाया था। अमेरिकी न्याय विभाग ने दावा किया है कि मैनहट्टन की एक संघीय अदालत में दायर अभियोग में पहचान नहीं किए गए भारत सरकार के एक कर्मचारी (सीसी-1) ने हत्या को अंजाम देने के लिए हिटमैन की सेवा लेने के लिए निखिल गुप्ता नाम के एक भारतीय नागरिक की भर्ती की थी, जिसे अमेरिकी अधिकारियों ने नाकाम कर दिया था।
इसके बाद भारत ने इस पर चिंता जताई थी। भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा था कि एक व्यक्ति के खिलाफ अमेरिकी अदालत में मामला दर्ज करना और उसे कथित तौर पर एक भारतीय अधिकारी से जोड़ना 'चिंता का विषय' है और यह सरकार की नीति के खिलाफ है।
हाल ही में कांग्रेस के भारतीय अमेरिकी सदस्यों ने भारत द्वारा घोषित आतंकवादी गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या की कथित नाकाम साजिश की जांच के लिए जांच समिति गठित करने की भारत सरकार की घोषणा का स्वागत किया है।
इससे पहले जून में कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में कथित तौर पर 'भारत सरकार के एजेंटों' की संलिप्तता का बेबुनियाद आरोप लगाया था। हालांकि, भारत ने इन आरोपों को 'बेतुका और प्रेरित' बताते हुए खारिज कर दिया और कनाडा के फैसले पर जैसे को तैसा का कदम उठाते हुए कनाडा के एक राजनयिक को निष्कासित कर दिया।
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