बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रही हिंसा और प्रताड़ना के खिलाफ दुनियाभर में आवाजें उठ रही हैं। अमेरिका में प्रवासी समुदाय सड़कों पर उतरकर हिंसा पर विराम लगाने और हिंदुओं की रक्षा करने की गुहार लगा रहा है तो ब्रिटेन की संसद में भी यह मुद्दा उठाया गया है।
इसी क्रम में प्रवासी समुदाय ने बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रही हिंसा के खिलाफ व्हाइट हाउस के सामने प्रदर्शन किया। हिंसा और अत्याचार के खिलाफ हुए इस प्रदर्शन में महिलाओं के साथ ही बच्चे भी शामिल हुए। प्रदर्शनकारियों ने अपने हाथ में बांग्लादेश में हिंदुओं को बचाने, शोशण पर विराम लगाने और हिंसा से मुक्ति की मांग करने वाले पोस्टर-बैनर लिए हुए थे। साथ में 'मुक्ति चाही... मुक्ति चाही' के नारे भी लग रहे थे।
Protests in front of the @WhiteHouse by diaspora from #Bangladesh. They demanded that the @POTUS use his immense influence on @Yunus_Centre to prevent further attacks on Hindus by radical Islamists. They called for the immediate release of #ChinmayaDas pic.twitter.com/dtWuXpQj14
— HinduACTion (@HinduACT) December 3, 2024
प्रवासी समुदाय ने अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन से मांग की है कि वे यूनुस सरकार पर अपने अपार प्रभाव का इस्तेमाल करें ताकि कट्टरपंथी इस्लामवादियों की ओर से हिंदुओं पर किये जा रहे हमलों को बांग्लेदेशी सरकार रोके। इसी के साथ प्रवासी समुदाय ने चिन्मय दास की तत्काल रिहाई की भी मांग की।
ब्रिटिश संसद में उठा माला
ब्रिटेन की संसद में भी बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रही हिंसा को समाप्त करने का मामला उठाया गया है। ब्रिटिश सांसद बैरी गार्डिनर ने ब्रिटिश संसद में हिंदुओं के खिलाफ हिंसा का मुद्दा उठाया और स्थिति को 'चाकू की धार' पर बताया। उन्होंने हिंदू मंदिरों पर हमले और इस्कॉन नेता चिन्मय कृष्ण दास की गिरफ्तारी को अल्पसंख्यकों पर अत्याचार का प्रमाण कहा।
British MP @BarryGardiner raises the violence against Hindus in British Parliament & that situation is at 'Knife Edge'; points to attack against Hindu temples, & arrest of Iskcon leader Chinmoy Krishna Das. pic.twitter.com/QC97Hk6ic3
— Sidhant Sibal (@sidhant) December 3, 2024
गार्डिनर ने कहा कि बांग्लादेश में हिंसा के 2000 से अधिक मामले देखे गए हैं। इनमें से अधिकांश में अल्पसंख्यक हिंदू समुदाय को निशाना बनाया गया है। बांग्लादेशी आबादी का 10 फीसदी से भी कम हिस्सा हैं हिंदू। उन पर लगातार हमले किये जा रहे हैं। हिंदुओं के आस्था स्थलों पर हमले हो रहे हैं और साधु-संतों को प्रताड़ित किया जा रहा है।
सांसद गार्डिनर ने कहा कि इस्कॉन आधुनिक हिंदुत्व का आंदोलन है। संस्था के पूर्व नेता को अवैध रूप से गिरफ्तार कर लिया गया जबकि हिंसा में शामिल किसी भी शख्स को न तो आरोपी बनाया गया और न मंदिरों पर हमला करने वालों को गिरफ्तारी हुई।
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